धर्मशाला, 09 सितंबर। उपायुक्त डॉ निपुण जिंदल कहा कि पर्यावरण संरक्षण के लिए कूड़ा कचरा प्रबंधन अत्यंत जरूरी है। इस के लिए व्यापक नियम भी बनाए गए हैं लेकिन कूड़ा कचरा प्रबंधन के लिए लोगों को जागरूक करने की नितांत आवश्यकता है। उपायुक्त डा निपुण जिंदल शुक्रवार को धर्मशाला के कार्ड में राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की दो दिवसीय सर्टिफिकेट कोर्स के समापन सत्र में बतौर मुख्यातिथि बोल रहे थे।
   उन्होंने कहा कि ठोस कचरा प्रबंधन संयंत्र निर्माण के लिए उचित भूमि के अलावा इसके कार्यान्वयन के लिए पर्याप्त धन की आवश्यकता होती है कई जगहों पर जमीन और पंचायतों के चयन को लेकर लोगों ने आपत्तियां जताई है अपने क्षेत्र में ठोस अपशिष्ट निपटान स्थल का चयन करने के मामले उच्च न्यायालय के विचाराधीन भी हैं।
   उन्होंने सुझाव देते हुए कहा कि ठोस अपशिष्ट निपटान स्थल के चयन हेतु पंचायत तथा अन्य विभागों से एनओसी की शर्त में छूट जरूरी है। उपायुक्त डॉ निपुण जिंदल ने कहा कि एनजीटी के निर्देशों को लागू करने के लिए जिला पर्यावरण प्लान भी तैयार किया गया है इसमें सभी विभिन्न विभागों के अधिकारी पर्यावरण संबंधी मुददों पर चर्चा करते हैं।
इस अवसर पर अपूर्व देवगन, सदस्य सचिव, एचपीएसपीसीबी ने सत्र का संचालन किया, जिसके बाद पैनलिस्ट आरएन जिंदल (सेवानिवृत्त) निदेशक, एमओईएफ, अतिन बिस्वास, निदेशक, सीएसई, डॉ क्षमा मैत्रेय, निदेशक कॉर्ड और प्रो मुकेश शर्मा, आईआईटी कानपुर। ने विस्तार से प्रमुख बिंदुओं पर चर्चा की।
   प्रशिक्षण में उपमंडलाधिकारियों सहित शहरी स्थानीय के कार्यकारी अधिकारी भाग,जिला ऊना, कांगड़ा और चंबा के निकायों के प्रतिनिधियों ने भी भाग लिया।

By admin

Leave a Reply