सोलन 11 जून शूलिनी यूनिवर्सिटी के वी-एम्पॉवर प्रोग्राम द्वारा “क्रिएटिंग योर पर्सनल ब्रांड” पर एक कोचिंग लर्निंग सेशन का आयोजन किया । सत्र के वक्ता कोच पूजा माथुर, एक आईसीएफ क्रेडेंशियल कोच थी। उन्होंने बड़े ब्रांडों के साथ सत्र की शुरुआत की जो सिर्फ अपने लोगो के साथ खड़े होते हैं, ऐप्पल इंक अपने नवाचार के लिए जाना जाता है, मर्सिडीज-बेंज अपनी विलासिता के लिए जाना जाता है, और नाइके अपने एथलेटिसवाद के लिए जाना जाता है। इन ब्रांडों के मूल्य और चेहरे ही उन्हें बाजार में केवल नाम होने से अलग करते हैं।


कोच पूजा  ने सकारात्मक और नकारात्मक दोनों तरह की ब्रांडिंग के बारे में बताया। सकारात्मक ब्रांडिंग वह है जिसकी हम आकांक्षा करते हैं और नकारात्मक ब्रांडिंग वह है जिसे हमें दूर करने की आवश्यकता है। अच्छी सकारात्मक ब्रांडिंग ताकत, प्रामाणिकता को उजागर करती है, और विश्वास और विशिष्टता पैदा करती है।


उन्होंने आगे कुछ कार्यों के बारे में बताया जो प्रामाणिकता, निरंतरता और विशिष्ट नक्काशी के माध्यम से आपको अपना व्यक्तिगत ब्रांड बनाने में मदद कर सकते हैं। आप कौन हैं और आप किसके लिए खड़े हैं, यह आपकी प्रामाणिकता को ढालता है। आप जो हैं उसे दुनिया को बताने, दिखाने और याद दिलाने में लगातार बने रहें। अपना आला खोजें और अपने दर्शकों को परिभाषित करें जो आपकी प्रतीक्षा करते हैं और आपसे जुड़ते हैं। ब्रांडिंग केवल ऑनलाइन नहीं है, यह आपकी हर क्रिया के साथ स्थिर है। उन्होंने कहा कि आपके पास कई ब्रांड हो सकते हैं जो आपके सर्वोत्तम गुणों के साथ आपके विभिन्न पहलुओं को चित्रित करतेl हैं।

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